1. मात्र 15 वर्ष की आयु में ग्रह त्याग करके पूज्या साध्वी आराधना गोपाल सरस्वती दीदी जी ने गुरूदेव भगवान की वाणी से प्रेरित होकर सन्यास मार्ग को अपनाया।
2. साध्वी आराधना गोपाल सरस्वती दीदी जी " 31 वर्षीय गो पर्यावरण एवं अध्यात्म चेतना पदयात्रा" के प्रणेता एवं विश्व की सबसे बडी गौशाला श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा के राट्रीय संयोजक स्वामी गोपालाचार्य गोपालानंद सरस्वती जी महाराज की कृपा पात्र शिष्या हैं।
3. दीदी जी ने पूरे भारतवर्ष में 200 से अधिक गौ कथा, गौराम कथा, भागवत कथा,शिव महापुराण, नानी बाई का मायरा किया हैं।
4. दीदी जी ने गौ माता की सेवा / रक्षा हेतु 8 वर्ष तक अन्न का त्याग किया।
5. दीदी जी पैरों में जूते चप्पल नहीं पहनती और मोबाइल को स्पर्श नहीं करती हैं।
6. दीदी जी पूर्णतः गोव्रती प्रसादी का ही सेवन करती हैं।
7. दीदी जी परम् पूज्य गुरूदेव भगवान के सानिध्य में पूरे देश में गो चेतना का कार्य कर रही हैं
8. दीदी जी की वाणी से प्रेरित होकर हजारों भक्तों ने गौ माता के शरणागत होकर आर्शीवाद प्राप्त किया हैं। नशा मुक्ति, निसंतान को संतान प्राप्ति एवं रोगी व्यक्तियों के शारीरिक कष्ट बीमारियां ठीक हुई हैं।