मेडिकल क्षेत्र में करते हुए भारी वेतन का त्याग करके 23 वर्ष की आयु में पूज्या निष्ठा गोपाल सरस्वती दीदी जी ने गुरुदेव भगवान की वाणी से प्रेरित होकर सन्यास मार्ग को अपनाया।
मेडिकल क्षेत्र मैं कार्यरत बेटी बनी साध्वी
1. 31 वर्षीय गौ पर्यावरण एवं अध्यात्म चेतना पदयात्रा के प्रणेता व विश्व की सबसे बड़ी गौशाला श्री गोधाम महातीर्थ, पथमेड़ा के राष्ट्रीय संयोजक
गोपालाचार्य स्वामी श्री गोपालानंद सरस्वती जी महाराज की कृपा पात्र शिष्या है।
2. दीदी जी का जन्म ब्राह्मण परिवार में उदयपुर राजस्थान में हुआ है।
3. दीदी जी ने फार्मेसी(D-pharma)और B.sc जैसी उच्च शिक्षा प्राप्त कर रखी हैं
4. दीदी जी ने पूरे भारतवर्ष में अब तक 200 से अधिक गौकथा, गौ राम कथा, भागवत कथा की है।
5. दीदी जी पैरों में जूते-चप्पल नहीं पहनती हैं।
6. दीदी जी मोबाईल को स्पर्श नही करती है।
7. दीदी जी पूर्णतः गोव्रती प्रसादी का ही सेवन करती है
8. दीदी जी परमपूज्य गुरुदेव केसानिध्य में सम्पूर्ण भारत में गो चेतना का कार्य कर रही है।
9. दीदी जी की वाणी से प्रेरित होकर हजारों भक्तों ने गौमाता के शरणागत होकर आशीर्वाद प्राप्त किया है ।
10. नशा मुक्ति, नि:संतान को संतान प्राप्ति एवं रोगी व्यक्ति के शारीरिक कष्ट बीमारियां ठीक हुई है।